दूरी-दूरी सी रहे ठहरी-ठहरी सी बहे हवा जो ये दिल की कहे कैसे बताऊँ तुझे? रहे तू जाने कहाँ? करूँ मैं कैसे बयाँ? ढूँढूँ मन का आसमाँ पर कभी ना पाऊँ तुझे ये जो दिल यूँ परेशान है जानूँ ना चाहे ये क्या मेरा मन खुद भी हैरान है क्यूँ तेरे मन से जुड़ा? आईना है तू मेरा, मैं तेरा आईना हैं एक से, पर जुदा रख के किनारों पे दोनों की दूरियाँ ढूँढें नई दास्ताँ आईना है तू मेरा, मैं तेरा आईना हैं एक से, पर जुदा रख के किनारों पे दोनों की दूरियाँ ढूँढें नई दास्ताँ ♪ आँखों में भर के तारों के सपने जाएँगे दूर तुझे ले के फैला के बाँहें हम को बुलाएँ ख़ाबों, ख़याल-ओ-ख़्वाहिशें थोड़ी-थोड़ी है जो दूरी, ढल ही जाएगी रास्ते जो रूह ढूँढे, क्यूँ ना पाएगी? ये दिल जो यूँ परेशान है जानूँ ना चाहे ये क्या मेरा मन खुद भी हैरान है क्यूँ तेरे मन से जुड़ा? आईना है तू मेरा, मैं तेरा आईना हैं एक से, पर जुदा रख के किनारों पे दोनों की दूरियाँ ढूँढें नई दास्ताँ आईना है तू मेरा, मैं तेरा आईना हैं एक से, पर जुदा रख के किनारों पे दोनों की दूरियाँ ढूँढें नई दास्ताँ आईना है तू मेरा, मैं तेरा आईना हैं एक से, पर जुदा रख के किनारों पे दोनों की दूरियाँ ढूँढें नई दास्ताँ आईना है तू मेरा, मैं तेरा आईना हैं एक से, पर जुदा रख के किनारों पे दोनों की दूरियाँ ढूँढें नई दास्ताँ