सुबह सुबह सुबह सुबह सुबह सुबह का ख्याल आज सुबह सुबह का ख्याल आज वापस गोकुल चल मथुरा राज मथुरा नगरपति कहे तुम गोकुल जाओ मनोहर वेश छोड़ नंदराज सर से उतार के सुन्दर ताज राज दण्ड छोड़ भूमि पर आज फिर कहे बांसुरी बजाओ मथुरा नगरपति कहे तुम गोकुल जाओ मथुरा नगरपति कहे तुम गोकुल जाओ ♪ कोण सा अनोखा गीत गहे पिक कुल राज पथ जैसे आज भाई धूल कोण सा अनोखा गीत गहे पिक कुल बिरहँ लगी फिर हृदय आकुल राज काज मन न लगाओ राज काज मन न लगाओ (मथुरा नगरपति कहे तुम गोकुल जाओ) (मथुरा नगरपति कहे तुम गोकुल जाओ) जाओ पुर नारि साडी व्याकुल नयन कुसुम सज्जा लगे कण्टक शयन पुर नारि साडी व्याकुल नयन रात भर माधव जगत बेचैन कहे आधी रात सारथी बुलाओ (मथुरा नगरपति कहे तुम गोकुल जाओ) (मथुरा नगरपति कहे तुम गोकुल जाओ) धीरे धीरे पहुँचात जमुना के तीर सुनसान पनघट मृदुल समीर धीरे धीरे पहुँचात जमुना के तीर खान खान माधव बिरह मदिर उसे कहे भूल न पाओ (मथुरा नगरपति कहे तुम गोकुल जाओ) (मथुरा नगरपति कहे तुम गोकुल जाओ) ♪ तुम्हारी प्रिया अब पूरी घरवाली दूध नवां घिवु दिन भर खाली तुम्हारी राधा अब पूरी घरवाली दूध नवां घिवु दिन भर खाली बिरह के आंसू कब के हो कब के पोछ डाली फिर कहे दर्द जगाओ मथुरा नगरपति कहे तुम गोकुल जाओ मथुरा नगरपति कहे तुम गोकुल जाओ मथुरा नगरपति कहे तुम गोकुल जाओ